केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने संसद के आगामी मानसून सत्र की तारीखों का ऐलान कर दिया है। यह सत्र 21 जुलाई से शुरू होकर 12 अगस्त तक चलेगा। यह घोषणा ऐसे समय में हुई है जब विपक्ष, खासकर ‘ऑपरेशन सिंदूर’ और पहलगाम आतंकी हमले जैसे मुद्दों पर संसद के विशेष सत्र की लगातार मांग कर रहा था।
संसदीय मामलों की कैबिनेट समिति की सिफारिश
सूत्रों के अनुसार, संसदीय मामलों की कैबिनेट समिति ने राष्ट्रपति को भेजी अपनी सिफारिशों में मानसून सत्र की इन तारीखों का उल्लेख किया था। इन तिथियों पर मुहर लगने के बाद, अब देश की निगाहें इस सत्र पर टिकी हैं, जहां कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा होने की उम्मीद है।
न्यायमूर्ति वर्मा के खिलाफ महाभियोग प्रस्ताव पर होगी चर्चा
इस सत्र में एक बड़ा मुद्दा न्यायमूर्ति यशवंत वर्मा के खिलाफ लाए गए महाभियोग प्रस्ताव पर होने वाली चर्चा होगी। केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने इस संबंध में कांग्रेस, तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी), समाजवादी पार्टी (सपा) और द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (डीएमके) सहित विभिन्न विपक्षी दलों के नेताओं से संपर्क साधा है।
न्यायमूर्ति वर्मा पर लगे हैं भ्रष्टाचार के आरोप
न्यायमूर्ति वर्मा पर भ्रष्टाचार के आरोप लगे हैं, जो इस साल मार्च में उनके दिल्ली स्थित आवास पर हुई आग लगने की घटना के बाद सामने आए थे। उस घटना के बाद, कथित तौर पर जला हुआ कैश बरामद हुआ था। उस समय, न्यायमूर्ति वर्मा दिल्ली उच्च न्यायालय में न्यायाधीश के पद पर कार्यरत थे। यह मामला तब से ही चर्चा का विषय बना हुआ है और अब मानसून सत्र में इस पर व्यापक बहस की संभावना है।
पिछले सत्र का विवरण
इससे पहले, संसद का बजट सत्र दो हिस्सों में आयोजित किया गया था। बजट सत्र का पहला भाग 31 जनवरी को शुरू हुआ और 13 फरवरी तक चला था। वहीं, इसका दूसरा भाग 10 मार्च को शुरू हुआ और 4 अप्रैल को समाप्त हुआ था। अब मानसून सत्र में देश के सामने मौजूद कई अहम चुनौतियों और राजनीतिक मुद्दों पर सरकार और विपक्ष के बीच गरमागरम बहस देखने को मिल सकती है।