हमदाबाद में हुए भयावह विमान हादसे के संबंध में नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने शनिवार को पहली बार आधिकारिक प्रेस कॉन्फ्रेंस की. मंत्रालय ने बताया कि एयर इंडिया की उड़ान AI-171 ने अहमदाबाद हवाई अड्डे से उड़ान भरने के बाद केवल 650 फीट की मामूली ऊंचाई ही हासिल की थी, जिसके तुरंत बाद विमान तेजी से ऊंचाई खोने लगा और अंततः दुर्घटनाग्रस्त हो गया.
टेकऑफ के एक मिनट बाद ही हुआ हादसा, पायलट ने भेजा था ‘मे डे’ कॉल
नागरिक उड्डयन सचिव समीर कुमार सिन्हा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में विस्तार से जानकारी देते हुए बताया कि विमान ने उड़ान भरने के बाद मात्र 650 फीट की ऊंचाई प्राप्त की थी. इस छोटी सी ऊंचाई तक पहुंचने के तुरंत बाद, विमान ने अनियंत्रित तरीके से नीचे आना शुरू कर दिया. इसी दौरान, पायलट ने दोपहर 1:39 बजे एयर ट्रैफिक कंट्रोल (ATC) को एक आपातकालीन ‘मे डे’ कॉल भेजा, जो किसी गंभीर खतरे का संकेत होता है. दुखद रूप से, इस ‘मे डे’ कॉल के एक मिनट के भीतर ही विमान मेघानीनगर स्थित मेडिकल हॉस्टल परिसर पर गिर गया, जिससे एक भीषण त्रासदी हुई.
हादसे से पहले नहीं थी कोई ज्ञात तकनीकी खराबी
समीर सिन्हा ने यह भी स्पष्ट किया कि दुर्घटना से पहले, जिस विमान में यह हादसा हुआ, उसने पेरिस-दिल्ली-अहमदाबाद का अपना पिछला सफर बिना किसी तकनीकी परेशानी के सफलतापूर्वक पूरा किया था. नागरिक उड्डयन मंत्री राम मोहन नायडू ने इस दुखद हादसे पर गहरा शोक व्यक्त किया. उन्होंने अपनी व्यक्तिगत पीड़ा साझा करते हुए कहा कि उन्होंने भी अपने पिता को एक सड़क हादसे में खोया था, और इसलिए वे पीड़ित परिवारों के दुख और दर्द को अच्छी तरह से समझ सकते हैं.
जांच के लिए उच्चस्तरीय समिति गठित, तीन माह में सौंपेगी रिपोर्ट
एयर इंडिया हादसे की गहन जांच के लिए केंद्र सरकार ने एक उच्चस्तरीय समिति का गठन किया है. इस समिति की अध्यक्षता गृह सचिव करेंगे, और इसमें केंद्र तथा राज्य सरकारों के संयुक्त सचिव स्तर से ऊपर के अधिकारी शामिल होंगे. समिति को तीन महीने के भीतर अपनी विस्तृत रिपोर्ट सौंपने का निर्देश दिया गया है. इस समिति का मुख्य कार्य दुर्घटना के कारणों की गहराई से पड़ताल करना, मौजूदा मानक संचालन प्रक्रियाओं (SOPs) और दिशा-निर्देशों की समीक्षा करना, और भविष्य में ऐसी दुर्भाग्यपूर्ण घटनाओं से निपटने के लिए व्यापक और प्रभावी सुझाव देना है.
ड्रीमलाइनर विमानों की जांच जारी, 8 की पड़ताल पूरी
नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) के निर्देश पर एयर इंडिया के बोइंग 787 ड्रीमलाइनर विमानों की जांच भी शुरू कर दी गई है. भारत में कुल 34 ड्रीमलाइनर विमान संचालित होते हैं, जिनमें से 8 की प्रारंभिक जांच पूरी हो चुकी है. दुर्भाग्यपूर्ण हादसे वाले विमान में 242 लोग सवार थे, जिनमें से 241 लोगों की जान चली गई, और चमत्कारिक रूप से केवल एक ही व्यक्ति जीवित बच सका. इसके अतिरिक्त, मेघानीनगर स्थित मेडिकल हॉस्टल परिसर में भी 20 से अधिक लोगों की मौत हुई है, जहां यह विमान दुर्घटनाग्रस्त हुआ था, जिससे हताहतों की संख्या और बढ़ गई है.